हापुड़ (मनीष कुमार) सरस्वती मेडिकल कॉलेज द्वारा सर्वेध्य विद्यालय, पिलखुवा में किशोरावस्था के छात्रों के लिए एनीमिया जागरूकता कैंप का आयोजन किया गया। इस अवसर पर छात्रों को एनीमिया के लक्षणों, पहचान और बचाव के उपायों के बारे में विस्तार से जानकारी दी गई कैंप के दौरान डॉ. भावना कोहली (वरिष्ठ प्राध्यापक, बाल रोग विभाग) ने बताया कि एनीमिया आज किशोरावस्था की एक गंभीर समस्या बनती जा रही है। समय रहते यदि इसके लक्षण पहचान लिए जाएँ तो बचाव बेहद आसान हो जाता है। उन्होंने समझाया कि एनीमिया के सामान्य लक्षणों में भूख न लगना या जल्दी थक जाना सांस फूलना आंखों की पलक के अंदर का हिस्सा सफेद या पीला पड़ना नाखूनों और जीभ का सफेद/पीला दिखना पैरों में सूजन आना शामिल हैं इसके साथ ही उन्होंने छात्रों को एनीमिया से बचाव के तीन सरल उपाय भी बताए रोजाना अपने खाने में आयरन युक्त खाद्य पदार्थ शामिल करें जैसे हरी पत्तेदार सब्जियां, अनाज, गुड़, दालें और फल हर सप्ताह आयरन की एक गोली जरूर लें, जिससे शरीर में आयरन की कमी न हो हर 6 माह के अंतराल पर पेट के कीड़ों की दवा लें, ताकि शरीर पोषक तत्वों को सही से अवशोषित कर सके अस्पताल प्रबंधक ने अंत में बच्चों से सीधे संवाद करते हुए उनसे पोषण संबंधी सवाल पूछे और सही जानकारी दी। वहीं, डॉ. पल्लवी (सहायक प्राध्यापक) ने सरस्वती अस्पताल की अन्य स्वास्थ्य सेवाओं एवं सभी आधुनिक सुविधाओं के बारे में विस्तार से जानकारी प्रदान की निदेशक रघुवर दत्त, महाप्रबंधक एन. वरदराजन और अस्पताल प्रशासक – डॉ. वाई. सी. गुप्ता ने भी इस अवसर पर अपने संदेश दिए। उन्होंने कहा कि “सामाजिक स्वास्थ्य और वेलनेस को बढ़ावा देना ही सरस्वती अस्पताल और सरस्वती इंस्टीट्यूट ऑफ मेडिकल साइंसेस (SIMS) की प्रतिबद्धता है। इसी संकल्प के तहत संस्थान लगातार समाज में जागरूकता और स्वास्थ्य सेवाओं के लिए सक्रिय भूमिका निभा रहा है। इसके साथ ही चेयरमैन डॉ. जे. रामचंद्रन एवं वाइस चेयरपर्सन रम्या रामचंद्रन ने भी इस पहल की सराहना की और पूरे SIMS टीम को सफलतापूर्वक जागरूकता कैंप आयोजित करने के लिए बधाई दी सरस्वती इंस्टीट्यूट ऑफ मेडिकल साइंसेस (SIMS) निरंतर ऐसे स्वास्थ्य शिविरों के माध्यम से समाज में किशोरों और युवाओं को स्वस्थ जीवनशैली अपनाने हेतु जागरूक कर रहा है।
हापुड़ (मनीष कुमार) सरस्वती मेडिकल कॉलेज द्वारा सर्वेध्य विद्यालय, पिलखुवा में किशोरावस्था के छात्रों के लिए एनीमिया जागरूकता कैंप का आयोजन किया गया। इस अवसर पर छात्रों को एनीमिया के लक्षणों, पहचान और बचाव के उपायों के बारे में विस्तार से जानकारी दी गई कैंप के दौरान डॉ. भावना कोहली (वरिष्ठ प्राध्यापक, बाल रोग विभाग) ने बताया कि एनीमिया आज किशोरावस्था की एक गंभीर समस्या बनती जा रही है। समय रहते यदि इसके लक्षण पहचान लिए जाएँ तो बचाव बेहद आसान हो जाता है। उन्होंने समझाया कि एनीमिया के सामान्य लक्षणों में भूख न लगना या जल्दी थक जाना सांस फूलना आंखों की पलक के अंदर का हिस्सा सफेद या पीला पड़ना नाखूनों और जीभ का सफेद/पीला दिखना पैरों में सूजन आना शामिल हैं इसके साथ ही उन्होंने छात्रों को एनीमिया से बचाव के तीन सरल उपाय भी बताए रोजाना अपने खाने में आयरन युक्त खाद्य पदार्थ शामिल करें जैसे हरी पत्तेदार सब्जियां, अनाज, गुड़, दालें और फल हर सप्ताह आयरन की एक गोली जरूर लें, जिससे शरीर में आयरन की कमी न हो हर 6 माह के अंतराल पर पेट के कीड़ों की दवा लें, ताकि शरीर पोषक तत्वों को सही से अवशोषित कर सके अस्पताल प्रबंधक ने अंत में बच्चों से सीधे संवाद करते हुए उनसे पोषण संबंधी सवाल पूछे और सही जानकारी दी। वहीं, डॉ. पल्लवी (सहायक प्राध्यापक) ने सरस्वती अस्पताल की अन्य स्वास्थ्य सेवाओं एवं सभी आधुनिक सुविधाओं के बारे में विस्तार से जानकारी प्रदान की निदेशक रघुवर दत्त, महाप्रबंधक एन. वरदराजन और अस्पताल प्रशासक – डॉ. वाई. सी. गुप्ता ने भी इस अवसर पर अपने संदेश दिए। उन्होंने कहा कि “सामाजिक स्वास्थ्य और वेलनेस को बढ़ावा देना ही सरस्वती अस्पताल और सरस्वती इंस्टीट्यूट ऑफ मेडिकल साइंसेस (SIMS) की प्रतिबद्धता है। इसी संकल्प के तहत संस्थान लगातार समाज में जागरूकता और स्वास्थ्य सेवाओं के लिए सक्रिय भूमिका निभा रहा है। इसके साथ ही चेयरमैन डॉ. जे. रामचंद्रन एवं वाइस चेयरपर्सन रम्या रामचंद्रन ने भी इस पहल की सराहना की और पूरे SIMS टीम को सफलतापूर्वक जागरूकता कैंप आयोजित करने के लिए बधाई दी सरस्वती इंस्टीट्यूट ऑफ मेडिकल साइंसेस (SIMS) निरंतर ऐसे स्वास्थ्य शिविरों के माध्यम से समाज में किशोरों और युवाओं को स्वस्थ जीवनशैली अपनाने हेतु जागरूक कर रहा है।